चमोली, 15 नवंबर। आज काव्यांस पुत्र भूपेंद्र रावत उम्र 10 वर्ष निवासी पौड़ी गढ़वाल गौचर मेले में अपनी मां से बिछड़ गया। काव्यांश जो प्रफुल्लित मन के साथ मेला देख रहा था, अचानक अपने आसपास के लोगों की भीड़ में खो गया। उसकी मां उसे खोजने के लिए चिंतित हो गईं, और वहीं पर एक मां का दिल रोने लगा। इस बीच, मेला ड्यूटी पर तैनात पुलिस कर्मी, कांस्टेबल कुलदीप और रिक्रूट कांस्टेबल आजाद सिंह ने बच्चे को चरखी के समीप रोते हुए देखा।
बच्चे की आँखों में डर और निराशा स्पष्ट थी। कांस्टेबल कुलदीप और रिक्रूट आजाद सिंह ने तुरंत काव्यांश को अपने पास बुलाया और उसे सांत्वना दी। उन्होंने उसे आश्वस्त किया कि वह सुरक्षित है और उसकी मां उसे जल्द ही खोज लेंगे।
पुलिस टीम ने खोया पाया केंद्र मेला थाना गौचर में काव्यांश को लाया जहाँ उन्होंने बच्चे की पहचान और उसके परिवार की तलाश करने के लिए प्रयास शुरू कर दिए। उन्होंने माइक पर घोषणा की कि कोई भी काव्यांश रावत के परिवार यहाँ उपस्थित हो, वह अपनी पहचान बताकर बच्चे को ले जाए।कुछ समय बाद, काव्यांश की मां, जो बहुत परेशान थीं, इस घोषणा को सुनकर तुरंत खोया पाया केंद्र पहुँचीं। उनकी आँखों में आशा की किरण दिखाई दी, जब उन्हें बताया गया कि उनका बच्चा सुरक्षित है। मां और बेटे की संयोग से मिलन की कहानी ने सभी की आँखों में आंसू ला दिए।
यह घटना इस बात का प्रमाण है कि लोगों की सुरक्षा के लिए हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है। मेले जैसे स्थलों पर हर मां-बाप को चाहिए कि वे अपने बच्चों का ध्यान रखें, लेकिन विपरीत परिस्थितियों में, पुलिस और समाज का सहयोग बेहद महत्वपूर्ण होता है।